भोपाल। चोर को चोरी के लिए प्रोत्साहन और चौकीदार को खबरदार रहने की हिदायत वाला सरकारी राग इन दिनों मनरेगा रोजगार गारंटी योजना में अलापा जा रहा है। हजारों जॉब कार्ड पर फर्जी भुगतान करवा देने वाले शिकायत होने पर बगलें झांकते दिखाई दे रहे हैं। सधा सधाया सा जवाब देकर जान छुड़ाने की कोशिश की जा रही है, घोटाला कहां हुआ है, बता दें तो कुसुरवार को सजा दे दी जाएगी
मामला धार जिले के गंधवानी तहसील का है। यहां मनरेगा के तहत जनपद पंचायत और RES द्वारा कराए जा रहे रोजगार गारंटी काम में करोड़ों रुपए का घोटाला किया गया है। इसके लिए योजनाबद्ध तरीके से करीब 23000 जॉब कार्ड तैयार किए गए। उनसे बड़ी राशि का भुगतान भी किया गया। इसके तत्काल बाद एक ही रात में इन जॉब कार्ड को डिलीट भी कर दिया गया। सूत्रों का कहना है कि इस साजिशभरे घोटाले में विभाग के सहायक लेखा अधिकारी, जनपद पंचायत एपीओ और RES के अनुविभागीय अधिकारी की मुख्य भूमिका है। जबकि जनपद और RES के बड़े अधिकारियों की गठजोड़ भी बताई जा रही है।
मुख्यालय तक फैली भ्रष्टाचार गंगा
सूत्रों का कहना है कि इस बड़े घोटाले को लेकर क्षेत्रीय स्तर पर कुछ लोगों ने आपत्ति जताई। इसको लेकर जिला मुख्यालय से लेकर राजधानी भोपाल स्थित मुख्य कार्यालय तक शिकायत भी की गई। सूत्रों का कहना है कि शिकायत पर परिषद में हलचल भी मची, आनन फानन में जांच कमेटी भी गठित की गई और दोषियों को सजा देने की तैयारी भी हुई। लेकिन बताया जाता है कि इस सुगबुगाहट के साथ भ्रष्टाचारियों के प्रयास शुरू हुए और जल्दी ही मामले को बिना जांच किए ही रफा दफा कर दिया गया।
अब सीएम को कर रहे गुमराह
सूत्रों का कहना है कि इस करोड़ी घोटाले को लेकर एक शिकायत सीएम हेल्पलाइन पर भी की गई है। बताया जा रहा है इस शिकायत को भी अगंभीर तरीके से लेते हुए जनपद पंचायत गंधवानी की मुख्य कार्यपालन अधिकारी ने जवाब प्रस्तुत किया है। जिसमें उन्होंने अपनी ही जनपद में हुए घोटाले, डिलीट किए गए जॉब कार्ड और इस मामले से जुड़े अधिकारियों की जानकारी होने से अनभिज्ञता जता दी है। उन्होंने सीएम हेल्पलाइन पर जवाब पेश किया है कि शिकायतकर्ता से इस घोटाले की जानकारी लेकर वे मामले में कार्यवाही करने की बात कही है।