पिछले लॉक डाउन में भी कांग्रेस ने उठाया था सांसद के लापता रहने पर सवाल
भोपाल। राजधानी भोपाल की सांसद प्रज्ञा ठाकुर को एक फिर गुमशुदा जाहिर किया गया है। कोरोना काल मेें उनकी शहर से गैरमौजूदगी और आमजन से दूरी को कांग्रेस ने उनकी गुमशुदगी से जोड़ते हुए उन्हें ढूंढ़कर लाने वाले को दस हजार रुपए का ईनाम देने का ऐलान किया है। इससे पहले कोरोना के प्रथम चरण में भी कांग्रेस ने प्रज्ञा के शहर में न होने को लेकर पांच हजारी ईनाम के साथ उनकी तलाश की थी।
मध्यप्रदेश कांग्रेस के महासचिव एवं वरिष्ठ प्रवक्ता रवि सक्सेना ने आरोप लगाया है कि कोरोना जैसी महामारी के गहन संकट के समय सांसद प्रज्ञा ठाकुर का भोपाल से लापता होना भोपाल की जनता के साथ धोखा है। सक्सेना ने कहा इस संक्रमण काल में लगातार सांसद का गायब रहना तथा भोपाल की जनता को असहाय छोड़कर अज्ञातवास में चले जाना जनता के साथ घोर अन्याय है। कांग्रेस प्रवक्ता ने उनको ढूंढकर लाने वाले को 10 हजार रुपए ईनाम देने की घोषणा की है।
सक्सेना ने कहा कि ये भोपालवासियों के लिए अत्यंत दु:ख और दुर्भाग्य की बात है कि जब दवाइयों, इंजेक्शंस, वेंटिलेटर, बेड्स और समुचित इलाज के अभाव में हजारों पीडि़त दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं और अपनी जान गंवा रहे हैं, ऐसे संकट के समय में सांसद का लापता होना जांच का विषय है। रवि सक्सेना ने याद दिलाते हुए कहा कि पिछले वर्ष भी कोरोना महामारी की संकट के समय प्रज्ञा ठाकुर भोपाल की जनता को असहाय छोड़कर गुम हो गईं थीं। सक्सेना ने कहा कि उस समय भी उन्होंने सांसद को ढूँढ़कर लाने वाले को 5000 रुपये इनाम देने की घोषणा की थी। जिसके बाद उनके सांसद प्रतिनिधि ने एक फोटो डालकर उनके बीमार होने की सूचना दी थी।
पहले हुआ था विधायकों का पोस्टर जारी
इससे पहले कुछ दिनों पूर्व सोशल मीडिया पर किसी अज्ञात व्यक्ति ने शहर के सभी विधायकों के फोटो वाला पोस्टर जारी किया था। इन सभी के मोबाइल नंबर उल्लेखित करते हुए लोगों से आह्वान किया था कि किसी भी मुसीबत के समय में अपने जनप्रतिनिधियों को फोन करें। पोस्टर में कहा गया था कि हमने अपने नेताओं को सिर्फ गद्दी पर सजाने के लिए नहीं चुना है, बल्कि उनसे मुश्किल समय में मदद लेना हमारा अधिकार है।