भारतीय रिजर्व बैंक के कर्मचारियों ने गवर्नर उर्जित पटेल को चिट्ठी लिखकर अपनी नाराजगी जाहिर की है. शुक्रवार को लिखे गए पत्र में कर्मचारियों ने कहा है कि नोटबंदी के बाद के हालात से वे अपमानित महसूस कर रहे हैं. कर्मचारियों ने पत्र में इस पर अपना विरोध जताया है कि नोटबंदी की प्रक्रिया के परिचालन में कुप्रबंधन और सरकार द्वारा करेंसी संयोजन के लिए एक अधिकारी की नियुक्ति की गई.
कर्मचारियों की तरफ से कहा गया है कि ऐसा करने से केंद्रीय बैंक की स्वायत्तता पर चोट पहुंचा है. करेंसी मैनेजमेंट के आरबीआई के विशेष काम के लिए भी वित्त मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी की नियुक्ति को कर्मचारियों ने केंद्रीय बैंक के अधिकारों का अतिक्रमण बताया है.
यह पत्र ऑल इंडिया रिजर्व बैंक इम्पलॉइज एसोसिएशन की तरफ से लिखा गया है. बताया जा रहा है कि यह एसोसिएशन केंद्रीय बैंक के 18,000 कर्मचारियों का प्रतिनिधित्व करता है. गौरतलब है कि नोटबंदी के फैसले और इसके बाद के घटनाक्रमों को देखते हुए कई अर्थशास्त्रियों और विशेषज्ञों ने आरबीआई की स्वायतता पर सवाल उठाया था. केंद्रीय बैंक के तीन पूर्व गवर्नर मनमोहन सिंह, वाई.वी.रेड्डी और विमल जालान के साथ-साथ पूर्व डिप्टी गवर्नर उषा थोराट और के. सी. चक्रवर्ती ने भी केंद्रीय बैंक की स्वायतता के अतिक्रमण पर चिंता जताई थी.