संसद की लोक लेखा समिति (PAC) ने नोटबंदी को लेकर आरबीआई गवर्नर उर्जित पटेल पर निशाना साधा है. नोटबंदी पर उनसे 10 सवाल पूछे गए हैं. पीएसी ने पूछा है कि शक्तियों का गलत इस्तेमाल करने के लिए आप पर क्यों नहीं मुकदमा चलाया जाए और पद से हटा दिया जाए. कांग्रेस के नेता केवी थामस इस समिति की अगुआई कर रहे हैं. उर्जित को 28 जनवरी को पीएसी के सामने पेश होना है. पीएसी ने 30 दिसंबर को आरबीआई के पास एक प्रश्नावली भेजी थी. इसमें आरबीआई गवर्नर से ये सवाल पूछे गए थे.
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1-आरबीआई ने इस बात की जानकारी दी थी कि इस कदम से देश की 86% नकदी अवैध हो जाएगी. कब तक यह नगदी सिस्टम में लौटेगी?
2-किस आधार पर नगदी निकालने की सीमा तय की गई? अगर आप इस संबंध में नियम की जानकारी नहीं दे सके, तो आप पर क्यों न मुकदमा चलाया जाए और शक्तियों के गलत इस्तेमाल के कारण क्यों न आपको पद से हटा दिया जाए.
3 –नियमों में बार-बार बदलाव क्यों किए गए. उंगली पर स्याही लगाने व शादी से जुड़े पैसों को निकालने का फैसला किसने लिया?
4 –कितने नोट बंद किए गए और कितनी पुरानी करेंसी को वापस जमा किया गया है?
5- 8 नवंबर की आपात बैठक में कौन-कौन अधिकारी शामिल हुए और बैठक का ब्योरा क्या है?
6-सरकार का कहना है कि नोटबंदी का फैसला आरबीआई के बोर्ड ने लिया था. सरकार ने सिर्फ सलाह पर कार्रवाई की. क्या आप सहमत हैं?
7- यह कब तय किया गया कि नोटबंदी भारत के हित में है?
8- 500 और 1,000 के नोट बंद करने के पीछे आपने क्या कारण पाए?
9- ऐसी क्या जरूरत आ पड़ी कि नोटबंदी करनी पड़ी?
पीएसी ने पटेल से नोटबंदी का फैसला लेने में आरबीआई की भूमिका, अर्थव्यवस्था पर असर व नियमों में बार-बार बदलाव के संबंध में ही ज्यादातर सवाल पूछे हैं.