मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एवं राज्यपाल सत्यपाल मलिक से सात देशों में कार्यरत भारतीय उच्चायुक्त व राजदूतों के दल ने मुलाकात की। बिहार परिदर्शन पर आये भारतीय उच्चायुक्त, राजदूतों में अधिकतर बिहार निवासी हैं और भारतीय विदेश नीति में राज्यों की सहभागिता बढ़ाने के उद्देश्य से बिहार के विभिन्न स्थलों का भ्रमण किया है।
राज्यपाल ने भारतीय उच्चायुक्त राजदूतों के दल से बात करते हुए कहा कि भारतीय इतिहास में जिसे स्वर्ण युग कहा जाता है वस्तुतः वह बिहार के मगध साम्राज्य का गौरवपूर्ण इतिहास है। वैशाली की धरती लोकतंत्र एवं विश्व के प्रथम गणराज्य की भूमि है। उन्होंने दल को बिहार की कृषि की जानकारी देते हुए कहा कि बिहार कृषि क्षेत्र में भी तेजी से उभर रहा है। तीसरे कृषि रोड मैप के कार्यान्वयन के जरियें राज्य में हरित क्रांति को फलीभूत बनाने के सार्थक प्रयास हो रहे हैं।
भारतीय उच्चायुक्त राजदूतों ने बताया कि उन देशों में बिहारी पर्व त्योहार, खान-पान को पसंद किया जाता है। राजदूतों ने मुख्यमंत्री को अहम सुझाव भी दिए। मुख्यमंत्री ने बिहार में किए जा रहे विकासात्मक कार्यों की जानकारी दी और दल के सभी सदस्यों को अंग वस्त्र एवं प्रतीक चिन्ह भेंटकर सम्मानित किया। मुख्यमंत्री और राज्यपाल से मिलने आये दल में बहरीन में भारतीय राजदूत आलोक कुमार सिन्हा, यूक्रेन के मनोज कुमार भारती, नामीबिया में भारतीय उच्चायुक्त कुमार तुहिन, मैक्सिको में मुक्तेश कुमार परदेशी, कजास्तिान में राजदूत प्रभात कुमार , सूडान में राजदूत रवींद्र प्रसाद जायसवाल और सेनेगल में भारतीय राजदूत राजीव कुमार शामिल रहे।