मंबई से सटे उत्तन में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ का तीन दिवसीय कार्यक्रम का आज तीसरा और आखिरी दिन था. आरएसएस के महासचिव भैया जी जोशी ने कार्यक्रम को संबोधित करने के दौरान कहा, अगर आवश्यकता पड़ी तो 1992 वाला कृत्य फिर से दोहराएंगे.
इसके साथ ही उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने अभी तक सुनवाई की तारीख तय नहीं की है, लेकिन मैं अपेक्षा करता हूं कि सुप्रीम कोर्ट हिंदुओं की भावना का कदर करेगी.बता दें कि इस कार्यक्रम में आज बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह भी पहुंचे थें. इसके साथ ही उन्होंने संघ प्रमुख मोहन भागवत से भी मुलाकात की.
Ram sab ke hriday mein rehte hain par wo prakat hote hain mandiron ke dwara. Hum chahte hain ki mandir bane. Kaam mein kuch baadhaein awashya hain aur hum apeksha kar rahe hain ki nyalalya Hindu bhavnaon ko samajh ke nirnay dega: Bhaiyyaji Joshi, RSS pic.twitter.com/LU37D4pILi
— ANI (@ANI) November 2, 2018
साथ भैया जी जोशी ने कहा कि भगवान सबके दिल में तो होते ही हैं, लेकिन भगवान के लिए मंदिरों की आवश्यकता होती है.गौरतलब है कि लगातार राम मंदिर का ये मसला चुनाव के नजदीक आते ही सक्रियता के चरम सीमा पर पहुंच गया है. मालूम हो कि मंदिर के पक्षकारों ने मंदिर निर्माण के लिए सरकार से संसद के शीतालीन सत्र के दौरान अध्यादेश लाने की मांग की थी.
बता दें कि आरएसएस की इस मांग कुछेक ने तो समर्थन किया लेकिन कुछेक ने इसे संविधान के खिलाफ बताया. वहीं कांग्रेस के पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने तो आरएसएस की इस मांग को अंसैधानिक करार दिया है.
वहीं सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव की छोटी बहू ने भी राम मंदिर के पक्ष में अपने विचार रखते हुए कहा कि राम मंदिर बनना चहिए, लेकिन जब उसी समय उनसे ये पूछा गया कि क्या मस्जिद नहीं बनना चहिए, तो अर्पणा ने कहा कि मैं मंदिर के पक्ष मैं हूं. साथ ही जब अर्पणा से ये पूछा गया कि क्या आप बीजेपी का पक्ष ले रही है तो अर्पणा का जवाब था कि मैं भगवान राम के साथ हूं.