सरकार को लगभग एक महीने लग गए केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) और राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) के नए प्रमुखों की नियुक्ति करने में. यह देरी आश्चर्य की बात तो थी, लेकिन शायद उड़ी आतंकी हमले ने सरकार को त्वरित कार्रवाई के लिए प्रेरित किया. मंत्रिमंडल की नियुक्ति समिति ने ओपी सिंह, 1983 बैच के उत्तर प्रदेश कैडर के भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी, का नाम केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल के नए महानिदेशक और सुधीर प्रताप सिंह, 1983 बैच के राजस्थान कैडर के भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी का नाम राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड के नए महानिदेशक (एनएसजी) के रूप में तय किया. दोनों का ट्रैक रिकॉर्ड सराहनीय रहा है. दिलचस्प है कि राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) में 32 साल के दौरान 29 महानिदेशक हुए हैं यानी एक वर्ष का औसत कार्यकाल रहा है. कई महानिदेशक तो बस कुछ ही महीनों की सेवा दे सके. आशा है कि नई नियुक्ति का सेवाकाल अधिक होगा. इस बीच, एक और उच्चस्तरीय नियुक्ति के तहत, आर के पचनन्दा, 1983 बैच के पश्चिम बंगाल कैडर के भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी, को राष्ट्रीय आपदा राहत बल (एनडीआरएफ) का महानिदेशक बनाया गया है. अब देखना है कि केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) और खुफिया ब्यूरो के (आईबी) के नए मुखिया कौन होते हैं, जिनका कार्यकाल दिसंबर में समाप्त हो रहा है.
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