पटना: चुनावी रणनीतिकार और पॉलिटिकल चाणक्य से नेता बने प्रशांत किशोर को उनके ही राजनैतिक गुरु नीतीश कुमार ने बड़ा झटका दिया है। प्रशांत के दूसरे सबसे बड़े नेता के सवाल पर नीतीश ने साफ कर दिया है कि वो पार्टी में सिर्फ उपाध्यक्ष हैं। उन्होंने कहा, ‘किसी को नंबर दो- नंबर तीन कहना बस एक विश्लेषण है। प्रशांत किशोर की जदयू में काफी इज्जत है। पता नहीं प्रशांत कुछ सोंचते हैं तो एक अलग विषय है।

नीतीश ने साफ़ कर दिया है की प्रशांत किशोर के साथ हमारे बहुत अच्छे संबंध हैं। मुझे उनपर पूरा विश्वास और भरोसा भी है। उन्हें भी मेरे प्रति स्नेह का भाव है। इसमें कोई शक नहीं है। मगर राजनीति में कई बार कई तरह की बाते होती रहती हैं।’

प्रशांत किशोर के ट्वीट्स से पहले ही ये अंदाजा लगाया जाने लगा था कि पार्टी में सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है। खुद प्रशांत किशोर ने ट्वीट कर ये साफ़ कर दिया था कि वो लोकसभा चुनाव में पार्टी की प्रचार टीम का हिस्सा नहीं होंगे। उन्होंने ट्वीट किया, बिहार में NDA माननीय मोदी जी एवं नीतीश जी के नेतृत्व में मजबूती से चुनाव लड़ रहा है। JDU की ओर से चुनाव-प्रचार एवं प्रबंधन की जिम्मेदारी पार्टी के वरीय एवं अनुभवी नेता श्री RCP सिंह जी के मजबूत कंधों पर है। मेरे राजनीति के इस शुरुआती दौर में मेरी भूमिका सीखने और सहयोग की है।’

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सिरे इस बात को खारिज कर दिया है कि, पार्टी में आंतरिक दरार है। उन्होंने कहा कि कई बार कुछ मुद्दे राजनीति में सामने आ जाते हैं। मगर साफ कर दिया प्रशांत किशोर को पार्टी में साइडलाइन नहीं किया गया।

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