चुनाव आयोग ने मंगलवार को कर्नाटक विधानसभा की 224 सीटों के लिए तारीखों का एलान किया. विधानसभा चुनाव के लिए 17 से 24 अप्रैल के बीच नामांकन दाखिल किए जाएंगे. वहीं 25 अप्रैल को नामांकन पत्रों की जांच होगी. नामांकन वापसी की आखिरी तारीख 27 अप्रैल है. चुनाव 12 मई को होंगे और नतीजों की घोषणा 15 मई को होगी. हालांकि चुनाव आयोग द्वारा तारीखों के एलान से पहले ही भाजपा के आईटी सेल हेड अमित मालवीय ने ट्विटर पर तारीखों की घोषणा कर दी. चुनाव आयोग के एलान से 22 मिनट पहले ही उन्होंने बता दिया कि 12 मई को कर्नाटक में चुनाव होंगे. जब उनका दावा सही निकला, तो कांग्रेस ने इस मुद्दे पर विरोध जताया. पार्टी प्रवक्ता रणदीप सुरजावाला भाजपा को सुपर इलेक्शन कमीशन बताया है.

अमित मालवीय ने अपने ट्वीट में लिखा था- कर्नाटक में 12 मई को चुनाव होंगे. 18 मई को नतीजे आएंगे. चुनाव आयोग की घोषणा के बाद, वोटिंग की तारीख तो सही निकली, लेकिन नतीजों की गलत. नतीजे 15 मई को आएंगे. इसके बाद जब हंगामा हुआ तो मालवीय ने सफाई देते हुए और ट्वीट हटा लिया. उन्होंने कहा कि एक अंग्रेजी चैनल में खबर देखने के बाद मैंने ट्वीट किया था. चुनाव आयोग की प्रेस कांफ्रेंस के दौरान ही पत्रकारों द्वारा इसे लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में मुख्य चुनाव आयुक्त ओपी रावत ने कहा कि इसकी जांच की जाएगी और कठोर कार्रवाई होगी.

इधर कांग्रेस इस मुद्दे पर भाजपा को चौतरफा घेर रही है. कांग्रेस के प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा है कि यह चुनाव आयोग की विश्वसनीयता को सीधी चुनौती है. सुरजेवाला ने ट्वीट कर कहा कि बीजेपी सुपर इलेक्शन कमिशन बन गई है. उन्होंने अमित मालवीय के ट्वीट के स्क्रीनशॉट के साथ हिंदी और अंग्रेजी में ट्वीट किया. सुरजेवाला ने इसे लेकर सवाल उठाते हुए कहा कि क्या चुनाव आयोग गोपनीय सूचना लीक करने के मामले में भाजपा अध्यक्ष अमित शाह को नोटिस जारी करेगा और भाजपा के आईटी हेड के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाएगा?

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